जमशेदपुर : लौहनगरी के टेल्को घोड़ाबांधा निवासी व सामाजिक कार्यो में बढ़चढ़कर हिस्सा लेनेवाले अशोक कुमार (75) का निधन हो गया है. उनके अनुज व जमशेदपुर स्वर्णकार मंच के संस्थापक महासचिव सह विश्वकर्म कारीगर संघ के अध्यक्ष धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि उम्र जनित बीमारियों से अशोक कुमार पिछले कुछ महीनों से पीडि़त थे
.उन्होंने टाटा मोटर्स अस्पताल में अमित सांस ली, जमशेदपुर में ही स्वर्णरेखा घाट पर उनका अंतिम संस्कार किया गया और श्राद्ध कर्म भी घोड़ाबांधा आवास पर ही किया जा रहा है.
अशोक कुमार का जन्म बिहार के नालंदा जिले के खुदागंज गांव में डॉ. सुरेद्र प्रसाद व शांति देवी के पुत्र के रूप में 1947 में हुआ था. 1960 के दशक के अंतिम काल में वे जमशेदपुर आए थे. टाटा मोटर्स में 43 साल की सेवा को पूरा करने के बाद वे कंपनी से रिटायर हुए् थे. उसके बाद उन्होंने समाज सेवा को अपने जीवन का लक्ष्य बना लिया था.
स्वर्णकार समाज के विकास के लिए भी वे आजीवन सक्रिय रहे. समाज में शिक्षा को बढ़ावा देने पर उनका जोर रहा. वे लोगों के कहा करते थे कि शिक्षा से ही विकास संभव है. बिना शिक्षा ग्रहण किए कुछ भी हासिल नहीं हो सकता. वे न सिर्फ स्र्वकार समाज बल्कि सर्व समाज में शिक्षा के प्रचार-प्रसार पर जोर देते थे.
अशोक कुमार अपने पीछे पुत्र सत्य प्रकाश व मुकेश और पुत्रियों नीलम व नूतन समेत भरापूरा बड़ा परिवार छोड़ गए हैं. उनके अनुजों में विनोद कुमार, धर्मेंद्र कुमार, सत्येंद्र कुमार, शशि भूषण व राजीव रंजन शामिल हैं.
29 जनवरी को श्राद्ध कर्म के अवसर पर उनकी स्मृति में समाज सेवा का खास कार्यक्रम रखा गया है.